साहित्य

  • जन की बात न दबेगी, न छिपेगी, अब छपेगी, लोकतंत्र के सच्चे सिपाही बनिए अपने लिए नहीं, अपने आने वाले कल के लिए, आपका अपना भविष्य जहाँ गर्व से कह सके आप थे तो हम हैं।
  • लखीमपुर-खीरी उ०प्र०
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Tuesday, November 07, 2023

बुद्ध स्तुति-डॉ० कैलाश नाथ

डॉ० कैलाश नाथ
 (प्राचार्य) 
डॉ० भीमराव अम्बेडकर पी०जी० कॉलेज, 
मुराद नगर (पतरासी) लखीमपुर खीरी। 
मो- 9452107832 



!! बुद्ध स्तुति !!

हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! 
जैसे जगे आप हमको जगा दो, 
महाज्ञानी हो ही मुझे ज्ञान दे दो ।
एक बार फिर से आ जाओ भगवन्, 
वट छाँव में ज्ञान- सुरसरि बहा दो ।

हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! 
दुख ही दुख है पूरे जगत में, 
सुधामय वाणी का मंत्र दे दो ।
ज्ञान-ज्योति दिखा दो भटकते मनुज को,
पंचशील का मर्म हमको बता दो।

हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! 
दुनिया ने जाना सबने है माना,
तथागत के बोल अमृत समाना। 
कला जीवन की जीना सिखाया,
अष्टम् मार्ग क्या है हमें भी बता दो ।

 हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! हे बुद्ध !हे बुद्ध ! 
मेरी आज विनती तुमसे यही है,
पड़ी भीर भारी मनुज के है ऊपर । 
विपदा हरौ है व्यथित आज जन-जन, 
कर दो दया राह भटके जनों पर ।

हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! हे बुद्ध ! हे बुद्ध !



पढ़िये आज की रचना

मौत और महिला-अखिलेश कुमार अरुण

(कविता) (नोट-प्रकाशित रचना इंदौर समाचार पत्र मध्य प्रदेश ११ मार्च २०२५ पृष्ठ संख्या-1 , वुमेन एक्सप्रेस पत्र दिल्ली से दिनांक ११ मार्च २०२५ ...

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